सच को झूठ बताने वाले बैठे हैं |
तिल का ताड़ बनाने वाले बैठे हैं ||
माल -ए-मुफ़्त उड़ाने वाले बैठे हैं |
सारा मुल्क पचाने वाले बैठे हैं ||
कुछ ही लोग बचाने वाले बैठे हैं |
बाकी सिर्फ़ मिटाने वाले बैठे हैं ||
बस दो चार कमाने वाले बैठे हैं |
सारे यार लुटाने वाले बैठे हैं ||
सेहत आज पडी है सबकी मुश्किल में |
दुश्मन ज़हर खिलाने वाले बैठे हैं ||
कब तक जान परिंदे की बच पाएगी ?
एक से एक निशाने वा ले बैठे हैं ||
क्या अंजाम मिलावट ख़ोरों का होना ?
माई - बाप बचाने वाले बैठे हैं ||
किसको दर्द सुनाये अपना महफ़िल में ?
सब तो शोर मचाने वाले बैठे हैं ||
रूठा यार मनाना अब नामुमकिन है |
चुगली यार लगाने वाले बैठे हैं ||
लीडर आज मुनअक़िद जलसे में सारे |
ख़ाली बात बनाने वाले बैठे हैं ||
पैसा लेकर फ़क़त मेरे ही फेवर में |
अपना हाथ उठाने वाले बैठे हैं ||
क्या ईमान रहेगा क़ायम वोटर का ?
दारू ख़ूब पिलाने वाले बैठे हैं |
किसकी आज इबादत कीजेगा भैय्या?
सब भगवान कहाने वाले बैठे हैं ||
डा० सुरेन्द्र सैनी